शी जिनपिंग की जीवनी हिंदी में, biography of Xi Jinping in hindi

 सामान्य परिचय

शी जिनपिंग का जन्म 15 जून 1953 को हुआ, 1974 में शी जिनपिंग चाइना की साम्यवादी पार्टी के ऑफिशियल मेंबर बने और 2013 में जिनपिंग चीन में जनरल सेक्रेटरी के पद पर रहे यह पद कम्युनिस्ट पार्टी का पद था

                                                              शी जिनपिंग का फोटो 

 धीरे धीरे शी जिनपिंग बढ़ते गये और एक दिन पीपल रिपब्लिक ऑफ चाइना के राष्ट्रपति बन गए

जीवन में संघर्ष

शी जिनपिंग का बचपन काफी संघर्ष से गुजरा बात 1968 की है जब चेयरमैन माओ ने एक आदेश जारी किया था जिसमें शहर में रह रहे लाखों युवाओं को गांव में पलायन का आदेश था इसी दौर में जब शी जिनपिंग के पिता कम्युनिस्ट पार्टी के एक उभरते हुए नेता थे तब मांओं ने अपने ही पार्टी के लोगों पर जुल्म ढाना शुरू कर दिया माओ के इस जुल्म से बचने के लिए शी जिनपिंग को भागकर गुफा में रहना पड़ा अर्थात अपने पिता का कम्युनिस्ट पार्टी में होने का खामियाजा भुगतना पड़ा

जब शी जिनपिंग 25 साल के थे तब शी जिनपिंग के पिता की पार्टी में फिर से वापसी हो गई तब से शी जिनपिंग ने अपना करियर आगे बढ़ाया हिंदी में 

शी जिनपिंग कैसे बने चीन के लोगों के मसीहा

शी जिनपिंग ने अपने शुरुआती दौर में फ्यूजन प्रांत में काम किया उसके बाद उन्हें पड़ोस के जिनजियांग प्रांत का पार्टी नेता नियुक्त किया

शी जिनपिंग लोगों के नजरों में तब ज्यादा उभर गए जब उन्होंने भ्रष्टाचार पर कड़ा रुख अपनाया एवं आर्थिक एवं सामाजिक सुधारों को काफी बढ़ावा दिया इसके साथ-साथ शी जिनपिंग पश्चिमी सभ्यता का विरोध करते रहे तथा अपनी संस्कृति का सम्मान करने के लिए चीन के लोगों को प्रेरित किया

महत्वपूर्ण पदों पर नियुक्ति

शी जिनपिंग की सन 2013 में जनरल सेक्रेटरी ऑफ कम्युनिस्ट पार्टी के पद पर नियुक्ति हुई जिसे राष्ट्रपति का पद भी कहते हैं वहीं अगर हम बात 2008 से 2013 की करें तो सी जिनपिंग चीन के उपराष्ट्रपति के पद पर नियुक्त थे

साठ के दशक का संघर्ष

साठ के दशक में शी जिनपिंग को जान बचाकर गांव में भागना पड़ा था इसका मुख्य कारण यह था कि शी जिनपिंग के पिता साम्यवादी पार्टी के नेता थे और माओ  अपने ही पार्टी के लोगों लोगों पर जुल्म ढा रहे थे

गांव में शी जिनपिंग ने गुफा में रहकर पढ़ाई की और वही खेतीबाड़ी का काम भी किया इसके साथ-साथ शी जिनपिंग ने सड़क बनाने का काम करना भी सीखा

कोरोनावायरस के दौर में मुश्किलें

जब वुहान शहर में निमोनिया जैसी बीमारी फैली और धीरे-धीरे यह चीन के विभिन्न प्रांतों मैं संक्रमण के कारण फैल गई तब शी जिनपिंग को चीन के लोगों का विरोध का सामना करना पड़ा क्योंकि शुरुआत में इस बीमारी की जानकारी देने वाले डॉक्टर की आवाज को दबा दिया गया था

इस बीमारी को बाद में covid-19 नाम दिया गया जिससे चीन में लगभग फरवरी 2020 तक लगभग 3000 से अधिक लोगों की मृत्यु हुई बता दें कि यह बीमारी चीन के वुहान प्रांत में दिसंबर 2019 में फैली थी

बाद में इस बीमारी के मामलों को छुपाने को लेकर विभिन्न देशों ने विरोध किया था क्योंकि यह बीमारी विश्व भर में फैल गई थी जिससे लाखों लोगों की मौत हुई सबसे ज्यादा विरोध अमेरिका के राष्ट्रपति ट्रंप की ओर से देखने को मिला जिसमें डोनाल्ड ट्रंप ने कोरोनावायरस को कुंग Flu नाम दे दिया

जो कि चीन के कुंगफू से मिलता-जुलता था यह एक मार्शल आर्ट की प्रक्रिया है जिसे चीन में कुंगफू कहते हैं

शी जिनपिंग की नीतियों का विश्व भर में विरोध

शी जिनपिंग को hong-kong सुरक्षा कानून लाने एवं वन चाइना पॉलिसी के तहत ताइवान पर दबाव डालने का विश्व भर से विरोध का सामना करना पड़ा वही पड़ोसी देश भारत से लद्दाख में बुरे दौर में सीमा विवाद खड़ा करने का भी विरोध का सामना करना पड़ा इसके साथ-साथ शी जिनपिंग की नीतियों का विरोध ऑस्ट्रेलिया जैसे देश भी करते आए हैं

शी जिनपिंग का परिवार

शी जिनपिंग ने पेंग लियुआन से शादी रचाई जो कि एक प्रसिद्ध गायिका हैं जिससे शी जिनपिंग की चर्चाएं चीन में विभिन्न प्रांतों में बहुत ज्यादा होने लगी शी जिनपिंग को उनके नाम से नहीं बल्कि उनकी पत्नी के नाम से ज्यादा जाना जाने लगा इनके पिता का नाम Xi Zhongxun है एवं इनकी एक पुत्री भी  हैं जिसका नाम Xi Mingze है वहीं इनकी माता की नाम Qi Xin है 


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