अमिताभ बच्चन की जीवनी हिंदी में, Biography of Amitabh Bachhan in Hindi

 अमिताभ बच्चन का सामान्य परिचय

अमिताभ बच्चन का जन्म 11 अक्टूबर 1942 को भारत के इलाहाबाद में (वर्तमान में प्रयागराज) हुआ इन्होंने अपनी उच्च शिक्षा शेरवुड कॉलेज नैनीताल एवं किरोड़ीमल कॉलेज दिल्ली यूनिवर्सिटी से प्राप्त की इनके पिता भारत के मशहूर कवि हरिवंश राय बच्चन थे

amitabh bachhan photo

एवं इनकी माता एक सामाजिक कार्यकर्ता थी जिनका नाम तेजी हरिवंश राय श्रीवास्तव बच्चन थी, अमिताभ बच्चन भारत के सबसे प्रभावशाली अभिनेताओं में से एक माने जा चुके हैं इनको लोग अक्सर इंडियाज एंग्री यंग मैन भी कहते हैं  

अमिताभ बच्चन का परिवार

अमिताभ बच्चन की पत्नी का नाम जया भादुरी है, एवं इनके दो बच्चे हैं जिनमें से एक का नाम अभिषेक बच्चन है जो फिल्मों के अभिनेता है अर्थात एक्टिंग करता है वहीं दूसरी ओर अमिताभ बच्चन अकेली लड़की भी है जिसका नाम श्वेता बच्चन-नंदा है जो कि एक पत्रकार है

अमिताभ बच्चन को मिलने वाले पुरस्कार

सन 2019 में अमिताभ बच्चन को दादा साहेब फाल्के पुरस्कार मिला था वहीं अगर 2015 की बात करें तो अमिताभ बच्चन पद्म विभूषण से भी सम्मानित हो चुके हैं इसके अलावा अमिताभ बच्चन पद्मभूषण एवं पद्मश्री से भारत सरकार द्वारा सम्मानित किए जा चुके हैं इसके अलावा अमिताभ बच्चन ने बॉलीवुड की दुनिया में कई अवार्ड जीते हैं इन अवार्ड में से एशियन फिल्म अवार्ड प्रमुख है जो इन्होंने एक बार जीता है

अमिताभ बच्चन का करियर

अमिताभ बच्चन के करियर की शुरुआत सन 1969 में हुई इन्होंने अपनी शुरुआती फिल्म में वॉइस निर्देशक का काम किया लेकिन मुख्य अभिनेता के रूप में यह सात हिंदुस्तानी नामक फिल्म से प्रचलित हुए बता दें कि अमिताभ बच्चनकई मुश्किलों के दौर से गुजरे उनके जीवन में भी कई फिल्में फ्लॉप हुई लेकिन  फिल्म जंजीर  ने उनके जीवन को पूरी तरह बदल दिया क्योंकि यह उनके जीवन के लिए एक प्रकार से टर्निंग प्वाइंट साबित हुई लगातार ब्लॉकबस्टर फिल्में देने के बाद अमिताभ बच्चन बॉलीवुड के शहंशाह कहलाए जाने लगे उन्होंने अब तक 200 से भी अधिक फिल्मों में काम किया है इसके साथ साथ अमिताभ बच्चन को स्टार ऑफ द मिलेनियम भी कहा जाता है

अमिताभ के करियर मैं संघर्ष

26 जुलाई 1982 के दिन जब खुली फिल्म की शूटिंग चल रही थी जिसमें अमिताभ बच्चन को मैं से टकराकर गिरने की एक्टिंग करनी थी लेकिन अचानक जैसे ही अमिताभ बच्चन में से टकराई तो मैच का कोना दुर्भाग्यवश उनकी आंखों में जाकर लग गया जिसे अमिताभ बच्चन गंभीर रूप से घायल हो गए ऐसा लग रहा था कि अमिताभ बच्चन का बचना मुश्किल है लेकिन लोगों की दुआओं और ऊपर वाले की इच्छा से अमिताभ बच्चन बच गए

अमिताभ का राजनीति में शामिल होना

कुली फिल्म में चोट लगने के बाद अमिताभ बच्चन को लगा कि अब वह फिल्मों की शूटिंग नहीं कर पाएंगे इसलिए अमिताभ बच्चन ने राजनीति में प्रवेश करने का निर्णय लिया

राजनीति के लिए अमिताभ बच्चन ने अपने गृह क्षेत्र इलाहाबाद जो कि वर्तमान में प्रयागराज के नाम से जाना जाता है में एचएन बहुगुणा के खिलाफ आठवां लोकसभा चुनाव लड़ा और भारी मतों से विजय भी बने

हालांकि अमिताभ बच्चन को राजनीति बिल्कुल भी पसंद नहीं आई और 3 साल बाद उन्होंने राजनीति करना छोड़ दिया

सामाजिक कार्यों में अमिताभ बच्चन का योगदान

अमिताभ बच्चन लोगों की सहायता करने के लिए हमेशा तत्पर रहते हैं इनका महत्वपूर्ण योगदान उत्तराखंड में भारी बाढ़ आने और कोरोना  महामारी के समय में लोगों को जागरूक करने में महत्वपूर्ण रहा है

अमिताभ बच्चन कर्ज में डूबे आंध्र प्रदेश के किसानों की भी सहायता कर चुके हैं इस प्रकार की दरियादिली अमिताभ बच्चन जैसे सदी के महापुरुष दिखा सकते हैं

written book on amitabh bachhan

AMITABH BACHHAN MOVIeS LIST IN HINDI

सोशल मीडिया के दौर में सबसे एक्टिव बच्चन

आजकल का दौर सोशल मीडिया का दौर है और इस समय पल पल के लिए लोगों को इंटरनेट पर ही निर्भर रहना पड़ता है ऐसे दौर में अमिताभ बच्चन भी कहां पीछे रहने वाले वे सोशल मीडिया पर भेज एक्टिव रहते हैं और अपनी हर बात सोशल मीडिया पर अक्सर शेयर करते रहते हैं आपको बता दें कि अमिताभ बच्चन के सोशल मीडिया पर लाखों फॉलोअर्स है 

अमिताभ बच्चन के बारे में अन्य बातें

अमिताभ बच्चन अभिनेता के अलावा प्रोड्यूसर सिंगर और टेलीविजन पर प्रस्तुतकर्ता का भी काम करते हैं और उनके द्वारा गाए गए कुछ प्रसिद्ध गाने आप नीचे वीडियो में देख सकते हैं

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👂🏻 👂🏻 👂🏻 👂🏻 👂🏻 👂🏻 *...कान की व्यथा...* मैं हूँ कान... हम दो हैं... जुड़वां भाई... लेकिन हमारी किस्मत ही ऐसी है कि आज तक हमने अपने दूसरे भाई को देखा तक नहीं 😪... पता नहीं.. कौन से श्राप के कारण हमें विपरित दिशा में चिपका कर भेजा गया है 😠... दु:ख सिर्फ इतना ही नहीं है... हमें जिम्मेदारी सिर्फ सुनने की मिली है.. गालियाँ हों या तालियाँ.., अच्छा हो या बुरा.., सब हम ही सुनते हैं... धीरे धीरे हमें *खूंटी* समझा जाने लगा... चश्मे का बोझ डाला गया, फ्रेम की डण्डी को हम पर फँसाया गया... ये दर्द सहा हमने... क्यों भाई..??? *चश्मे का मामला आंखो का है* *तो हमें बीच में घसीटने का* *मतलब क्या है...???* हम बोलते नहीं तो क्या हुआ, सुनते तो हैं ना... हर जगह बोलने वाले ही क्यों आगे रहते है....??? बचपन में पढ़ाई में किसी का दिमाग काम न करे तो *मास्टर जी हमें ही मरोड़ते हैं 😡...* जवान हुए तो आदमी,औरतें सबने सुन्दर सुन्दर लौंग, बालियाँ, झुमके आदि बनवाकर हम पर ही लटकाये...!!! *छेदन हमारा हुआ,* *और तारीफ चेहरे की ...!* और तो और... श्रृंगार देखो... आँखों के लिए काजल... मुँह के लिए क्रीमें... होठों के लिए लिपस्टिक... हमने आज तक कुछ माँगा हो तो बताओ... कभी किसी कवि ने, शायर ने कान की कोई तारीफ की हो तो बताओ... इनकी नजर में आँखे, होंठ, गाल, ये ही सब कुछ है... *हम तो जैसे किसी मृत्युभोज की* *बची खुची दो पूड़ियाँ हैं..,* जिसे उठाकर चेहरे के साइड में चिपका दिया बस... और तो और, कई बार *बालों के चक्कर में* *हम पर भी कट लगते हैं* ... हमें डिटाॅल लगाकर पुचकार दिया जाता है... बातें बहुत सी हैं, किससे कहें...??? कहते है दर्द बाँटने से मन हल्का हो जाता है... आँख से कहूँ तो वे आँसू टपकाती हैं...नाक से कहूँ तो वो बहाता है... मुँह से कहूँ तो वो हाय हाय करके रोता है... और बताऊँ... *पण्डित जी का जनेऊ,* *टेलर मास्टर की पेंसिल,* *मिस्त्री की बची हुई गुटखे की पुड़िया* सब हम ही सम्भालते हैं... और आजकल ये नया नया *मास्क* का झंझट भी हम ही झेल रहे हैं... कान नहीं जैसे पक्की खूँटियाँ हैं हम... और भी कुछ टाँगना, लटकाना हो तो ले आओ भाई... तैयार हैं हम दोनों भाई...!¡! 🙏🏻🙏🏻 ~ pr pan

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